बरगदवा, गोरखपुर का मज़दूर आन्दोलन कुछ ज़रूरी सबक़, कुछ कठिन चुनौतियाँ
आज की वस्तुगत स्थिति यदि मालिकों के पक्ष में है तो कल की वस्तुगत स्थिति निश्चित तौर पर मज़दूरों के पक्ष में होनी है। जो गोरखपुर में हो रहा है, वही पूरे देश के सभी कारखानों में हो रहा है। ठेकाकरण-दिहाड़ीकरण का सिलसिला जारी है। ऐसी स्थिति में आने वाले दिनों में व्यापक मज़दूर एकता का भौतिक आधार तैयार और मज़बूत होगा, यह तय है। इसके मद्देनज़र हमें अपनी तैयारी तेज़ कर देनी होगी और रत्तीभर भी ढिलाई नहीं करनी होगी।